Women's Day Special: इन मंदिरों में है जेंट्स की नो एंट्री, करती है सिर्फ लेडीज ही पूजा

आपने ये तो सुना होगा कि कई मंदिरों में महिलाओं का प्रवेश निषेध होता है पर क्या आप ये जानते है कई मंदिरों में विशेष दिनों में पुरुषों का प्रवेश भी निषेध होता है। इस महिला दिवस के मौके पर हम आपको बताते है कि वो मंदिर कौन से है..….  

Women's Day Special: इन मंदिरों में है जेंट्स की नो एंट्री, करती है सिर्फ लेडीज ही पूजा

फीचर्स डेस्क। हमारा भारत देश एक ऐसा देश है जहां कदम कदम पर सरप्राइजेज है। जी हां आपको ये जानकर आश्चर्य होगा कि हमारे देश के कई मंदिर ऐसे है जहां किसी विशेष मौके पर पुरुषों को मंदिर में प्रवेश की अनुमति नहीं है। यानि की पुरुष उस समय पूजा नहीं कर सकते मंदिर में। अब आपके मन में भी जिज्ञासा हो गई होगी उन मंदिरों के बारे में जानने की। तो आइए बताते है आपको उन मंदिरों के बारे में….

 ब्रह्मा मंदिर, राजस्थान

राजस्थान के पुष्कर में स्थित ब्रह्मा मंदिर, जो आपको पूरे देश में सिर्फ यहीं मिलेगा। ये एक ही मंदिर है जहां ब्रह्मा जी की पूजा होती है। ये मंदिर 14वी शताब्दी में बना। यहां मैरिड जेंट्स यानि शादीशुदा पुरुष की नो एंट्री है। इसके पीछे भी एक मान्यता है कि देवी सरस्वती ने शादीशुदा पुरुषों को श्राप दिया कि वो मंदिर में प्रवेश नहीं कर सकते। इसलिए पुरुष आंगन से ही हाथ जोड़ लेते है और महिलाएं मंदिर में जाकर पूजा करती है।

 कामाख्या मंदिर, गुवाहाटी

कामाख्या मंदिर असम के गुवाहाटी में स्थित है। माता के सभी शक्तिपीठों में से कामाख्या शक्तिपीठ का स्थान सबसे ऊपर है। माता रानी के महावारी के उन चार दिनों में इस मंदिर में उत्सव होता है। इन चार दिनों में यहां पुरुषों की एंट्री बैन होती है। यहां तक कि इन दिनों पुजारी भी एक महिला ही होती है।

 भगवती देवी मंदिर, कन्याकुमारी

ऐसी मान्यता है कि माता पार्वती यहां तपस्या करने आई थी। शिव जी को अपने पति के रूप में प्राप्त करने के लिए पार्वती जी ने यहां कठिन तपस्या की थी। इसलिए भगवती माता को संयासिनी भी कहते है। सन्यासी पुरुष ही माता के दर्शन कर सकते है। शादीशुदा पुरुषों को आना मना है। इस मंदिर में पूजा भी सिर्फ महिलाएं ही कर सकती है।

 संतोषी माता मंदिर, जोधपुर

जोधपुर का संतोषी माता का मंदिर बहुत प्रसिद्ध है। यहां हर शुक्रवार को मेला भरता है। महिलाएं संतोषी माता का व्रत हर शुक्रवार को करती है तो इस दिन मंदिर में पुरुषों का प्रवेश निषेध होता है। सिर्फ महिलाएं ही यहां पूजा करती है और पुरुष बाहर से ही मां को धोक लगाते है।

चक्कुलाथुकावु मंदिर, केरल

केरल के चक्कुलाथुकावु मंदिर में माता दुर्गा की पूजा की जाती है। यहां मंदिर में हर साल पोंगल के दिन नारी पूजन होता है। ये पूजन 10 दिन तक चलता है। इन दस दिनों में यहां पुरुषों को सख्त मनाही होती है आने के लिए। लेकिन कन्या पूजन के आखिरी दिन पुरुषों को बुलाया जाता है ताकि वो नारी के पैर धो सकें।

तो आपने जाना न कि इन मंदिरों में पुरुष है नॉट अलाउड।