NEET-PG का विवाद : SC, ST या OBC कैटेगरी को लेकर कोर्ट से केंद्र ने कही ये बात

NEET-PG का विवाद : SC, ST या OBC कैटेगरी को लेकर कोर्ट से केंद्र ने कही ये बात

नई दिल्ली। हाल के दिनों में डॉक्टरों ने सड़कों पर आ कर प्रदर्शन किए और NEET-PG के जरिए दाखिला जल्द शुरू करने की मांग की। डॉक्टरों ने मांग पूरी न होने पर हड़ताल की भी धमकी दी है। लेकिन ये विवाद जल्द खत्म होता नजर नहीं आ रहा। इस विवाद के जड़ में है NEET-PG में EWS यानी आर्थिक रूप से पिछड़ा वर्ग का 10 फीसदी आरक्षण। NEET-PG एग्जाम के जरिए देश भर के मेडिकल कॉलेज में पोस्ट ग्रेजुएट कोर्स में दाखिला होता है। दाखिले के बाद ये छात्र जूनियर डॉक्टर के तौर पर अस्पताल में काम भी करते है। इस साल ये दाखिला छह महीने पीछे चल रहा है। छात्रों को डर है की कहीं उनका साल बरबाद न हो जाए. क्योंकि दाखिले का मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित है जहां केंद्र सरकार और सुप्रीम कोर्ट आमने सामने नज़र आ रही है।

इस साल NEET-PG में दाखिले के लिए केंद्र सरकार ने आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग को 10 फीसदी आरक्षण दिया है। इस कैटेगरी में आने के लिए छात्र के परिवार की कुल सालाना आमदनी 8 लाख रुपए से कम होनी चाहिए और वो SC, ST या OBC कैटेगरी का नही होना चाहिए।

सुप्रीम कोर्ट ने 8 लाख रुपए सालाना आमदनी के नियम पर सवाल उठाया था. अदालत का मानना था की ये सीमा बहुत ज्यादा है। अगर सरकार गरीबों को चिन्हित करना चाहती है तो उसे इस सीमा को कम करना चाहिए। वर्ना आरक्षण का लाभ सही छात्र तक नहीं पहुंचेगा। अदालत ने सरकार से इस पर दोबारा विचार करने को कहा था। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के मुताबिक जब तक आमदनी की इस सीमा पर स्पष्टता नहीं आ जाती तब तक दाखिला शुरू नही होगा।