कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए आज होगा मतदान, थरूर के मुकाबले खरगे का पलड़ा भारी

कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए आज होगा मतदान, थरूर के मुकाबले खरगे का पलड़ा भारी

नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खरगे और शशि थरूर आज कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए चुनावी मुकाबले में आमने-सामने होंगे। सुबह 10 बजे से मतदान शुरू होगा। 22 साल बाद हो रहे चुनाव के नतीजे 19 अक्तूबर को आएंगे। इसी के साथ पार्टी को एक गैर गांधी अध्यक्ष मिलना तय है। 9,000 से अधिक प्रदेश कांग्रेस कमेटी (पीसीसी) के प्रतिनिधि गुप्त मतदान में पार्टी प्रमुख को चुनने के लिए मतदान करेंगे। पार्टी के 137 साल के इतिहास में छठी बार चुनावी मुकाबले में एआईसीसी मुख्यालय और देश भर के 65 से अधिक मतदान केंद्रों पर मतदान होगा।

खरगे गांधी परिवार की पसंद 

इस दिलचस्प मुकाबले पर सभी की नजरें हैं, हालांकि हाईकमान का पसंदीदा नेता होने के नाते खरगे का पलड़ा भारी माना जा रहा है। मतदान सुबह 10 बजे से शाम 4 बजे तक होगा। मतदान के बाद सीलबंद बक्सों को राज्यों से दिल्ली स्थित पार्टी मुख्यालय लाया जाएगा। चुनाव में वरिष्ठ नेता खरगे का पलड़ा भारी माना जा रहा है। उन्हें गांधी परिवार की पसंद कहा जा रहा है। साथ ही पार्टी वरिष्ठ नेताओं का भी उन्हें समर्थन हासिल है। वहीं दूसरी ओर थरूर खुद को पार्टी में बदलाव का उम्मीदवार बताकर समर्थन जुटाते रहे हैं। चुनाव प्रचार के दौरान थरूर ने दोनों उम्मीदवारों को लेकर भेदभाव का भी आरोप लगाया था।

राहुल गांधी कर्नाटक के संगनाकल्लू में करेंगे मतदान 

जहां पार्टी प्रमुख सोनिया गांधी और कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा के यहां एआईसीसी मुख्यालय में मतदान करने की उम्मीद है, वहीं राहुल गांधी कर्नाटक के संगनाकल्लू में भारत जोड़ो यात्रा शिविर में लगभग 40 अन्य यात्रियों के साथ मतदान करेंगे, जो पीसीसी के प्रतिनिधि हैं। थरूर अपना वोट केरल कांग्रेस मुख्यालय तिरुवनंतपुरम में डालेंगे, जबकि खरगे बेंगलुरु में कर्नाटक कांग्रेस कार्यालय में मतदान करेंगे। खरगे को गांधी परिवार से उनकी कथित निकटता और वरिष्ठ नेताओं के समर्थन के लिए पसंदीदा माना जा रहा है, वहीं थरूर ने खुद को बदलाव के उम्मीदवार के रूप में पेश किया है।

थरूर ने उठाया असमान मुकाबले का मुद्दा 

प्रचार के दौरान भले ही थरूर ने असमान मुकाबले के मुद्दों को उठाया, लेकिन पार्टी ने यह सुनिश्चित किया है कि गांधी तटस्थ हैं और कोई आधिकारिक उम्मीदवार नहीं है। प्रतिनिधियों को लुभाने के अभियान के तहत खरगे और थरूर ने अभियान के आखिरी दिन बेंगलुरू में और बाद में लखनऊ में जोरदार अपील की। बेंगलुरू में बोलते हुए खरगे ने कहा कि अगर वह अध्यक्ष बनते हैं उन्हें पार्टी के मामलों को चलाने में गांधी परिवार की सलाह और समर्थन लेने में कोई शर्म नहीं होगी, क्योंकि उन्होंने संघर्ष किया है और इसके विकास के लिए अपनी ताकत लगाई है। इस बीच थरूर ने खरगे का समर्थन करने वाले कुछ वरिष्ठ नेताओं पर परोक्ष रूप से कटाक्ष करते हुए कहा कि कुछ सहयोगी 'नेतागिरी' में लिप्त हैं और पार्टी कार्यकर्ताओं से कह रहे हैं कि वे जानते हैं कि सोनिया गांधी किसे निर्वाचित करना चाहती हैं।