Caste Census: चुनावी वादा निभाएगी तेलंगाना कांग्रेस, CM रेवंत रेड्डी ने जातीय जनगणना की तैयारी का दिया निर्देश

तेलंगाना में जातीय जनगणना जल्द कराई जाएगी। ये कहना है मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी का। तेलंगाना में पहली बार बनी कांग्रेस सरकार के मुखिया, सीएम रेवंत रेड्डी ने अधिकारियों को जातीय जनगणना की तैयारियों का निर्देश भी दिया है...

Caste Census: चुनावी वादा निभाएगी तेलंगाना कांग्रेस, CM रेवंत रेड्डी ने जातीय जनगणना की तैयारी का दिया निर्देश

हैदराबाद। तेलंगाना में कांग्रेस सरकार बड़ी कवायद कर रही है। 10 साल के बाद पहली बार भारत राष्ट्र समिति (BRS) सरकार को उखाड़ फेंकने में कामयाब रही कांग्रेस सरकार के मुखिया- सीएम रेवंत रेड्डी ने कहा कि उनकी सरकार पूरे राज्य में जातीय जनगणना की तैयारी कर रही है। उन्होंने कहा कि चुनाव से पहले कांग्रेस पार्टी ने जातीय जनगणना कराने का वादा किया था। अब सरकार जनगणना कराने की तैयारियां कर रही है। राज्य के बड़े अधिकारियों के साथ बैठक में सीएम रेवंत रेड्डी ने अल्पसंख्यकों, पिछड़े वर्गों और आदिवासी कल्याण विभागों से संबंधित मुद्दों पर बैठक कर जातीय जनगणना कराने का निर्देश दिया।

बिहार में हो चुकी है ऐसी कवायद, गठबंधन सरकार में कांग्रेस भी शामिल

गौरतलब है कि इससे पहले बिहार में जातीय जणगणना से मिलती-जुलती कोशिश हो चुकी है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सरकार ने जातियों की पहचान करते हुए अलग-अलग समूहों की आबादी का पता लगाने के लिए जातीय सर्वे कराया था। इसकी रिपोर्ट के मुताबिक बिहार की आबादी 13,07,25,310 है। वहीं कुल सर्वेक्षित परिवारों की संख्या 2,83,44,107 है। इसमें पुरुषों की संख्या 4 करोड़ 41 लाख और महिलाओं की संख्या 6 करोड़ 11 लाख है। बिहार में प्रति 1000 पुरुषों में 953 महिलाएं हैं। बिहार का जिक्र इसलिए प्रासंगिक है क्योंकि .यहां की गठबंधन सरकार में कांग्रेस भी शामिल है।

शनिवार को जारी सरकारी बयान के मुताबिक मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने अधिकारियों को जातीय जनगणना का निर्देश देने के अलावा गरीब घरों की बेटियों की शादी पर भी बड़ा फैसला लिया। गरीबी रेखा से नीचे (BPL) गुजर-बसर करने वाले परिवार में लड़कियों की शादी के समय सरकार ने एक लाख रुपये वित्तीय मदद के अलावा एक तोला सोना देने का एलान किया है। सरकार कल्याणमस्तु योजना चलाएगी। अधिकारियों को बजट अनुमान तैयार करने का निर्देश दिया गया है।

अधिकारियों को सरकारी कल्याणा छात्रावासों के लिए जरूरी फंड का अनुमान लगाने का निर्देश भी दिया गया है। अनुमानित व्यय के अनुसार धनराशि 'ग्रीन चैनल' में जारी की जाएगी। इससे सरकार के राजकोष से जल्द पैसे रिलीज (expeditious release of funds) करने में मदद मिलती है।

मुख्यमंत्री ने सरकारी आवासीय विद्यालयों का विवरण देने का निर्देश भी दिया है। किराए के भवनों में संचालित इन स्कूलों का विवरण देने के अलावा अधिकारियों को भवन निर्माण के लिए भूमि की पहचान करने का निर्देश भी दिया गया है। इसके लिए भी आवश्यक धनराशि का अनुमान लगाया जाना है।

सीएम ने अधिकारियों से संसदीय क्षेत्र में पिछड़े वर्गों से जुड़े छात्रों के लिए कोचिंग सेंटर की स्थापना से जुड़े प्रस्तावों का अध्ययन करने को भी कहा। उन्होंने अधिकारियों से अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (एससी-एसटी), पिछड़ी जाति (बीसी) कल्याण आवासीय शैक्षणिक संस्थानों को अलग-अलग रखने के बजाय एक 'एकीकृत शिक्षा केंद्र' स्थापित करने की दिशा में प्रयास तेज करने के निर्देश भी दिए। सरकार का मानना है कि ऐसा करने से संस्थाओं के बेहतर रखरखाव और पर्यवेक्षण में मदद मिलेगी।