न्यू मॉम्स दूध बढ़ने के लिए अपनी डाइट में शामिल करें ये सुपर फूड्स

फीडिंग के शुरुवाती दौर में कई न्यू मॉम्स दूध कम बनने की शिकायत करती मिल जाती है। कई सारे ऐसे सुपर फूड्स हैं जो ब्रैस्ट में मिल्क फ्लो को बढ़ाते हैं। आइये जानते हैं उन्ही सुपर फ़ूड के बारे में...

न्यू मॉम्स दूध बढ़ने के लिए अपनी डाइट में शामिल करें ये सुपर फूड्स

फीचर्स डेस्क। ब्रेस्‍ट मिल्‍क शिशु के लिए संपूर्ण आहार ही। इसमें मौजूद पोषक तत्‍व शिशु को पूरा नुट्रिशन देते हैं साथ ही एलर्जी,मोटापे और कई गंभीर बिमारियों से बचाते हैं। इसके अलावा यह आसानी से पच जाता है और शिशु को कब्ज, दस्त या पेट खराब जैसी समस्‍याएं नहीं होती हैं। पर फीडिंग के शुरुवाती दौर में कई न्यू मॉम्स दूध कम बनने की शिकायत करती मिल जाती है।  तो आप को बता दें बॉडी के लिए स्तनपान रिफ्लेक्स एक्शन के जैसा काम करता है। जैसे जैसे बच्चा सक करेगा दूध पियेगा वैसे वैसे ही ब्रैस्ट में मिल्क फ्लो बढ़ता जायेगा। इसके अलावा कई सारे ऐसे सुपर फूड्स भी हैं जो ब्रैस्ट में मिल्क फ्लो को बढ़ाते हैं। आइये जानते हैं उन्ही सुपर फ़ूड के बारे में

मेथी के दाने 

मेथी के दाने अमूमन सबके घरों में होते ही है। इसकी खुशबू बहुत तेज़ होती है और उन्हें शक्तिशाली गैलेक्टागोग्स के रूप माना जाता है। इसमें एस्ट्रोजन जैसे तत्‍व भी होते हैं, जिन्हें दूध के फ्लो को बढ़ाने के लिए जाना जाता है। यह भी माना जाता है कि जो महिलाएं दिन में 2 बार मेथी की चाय पीती हैं, उनमें अन्‍य महिलाओं की तुलना में ब्रेस्‍ट मिल्‍क ज्‍यादा बढ़ता है। मेथी के बीज में कैल्शियम की मात्रा भी बहुत ज्‍यादा होती है, इसलिए यह ब्रेस्‍ट फीडिंग के दौरान आपकी बोन हेल्‍थ के लिए भी अच्छा है। आप इसे एक चम्मच रात को भिगो दें और सुबह पानी के साथ लें। 

ओट्स

ओट्स सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं। ब्रेस्‍ट मिल्‍क बढ़ाने के लिए महिलाएं नाश्‍ते में रोज ओट्स खा सकती हैं। ओट्स में फाइबर अधिक मात्रा में होता है और ये एनर्जी से भी भरपूर होता है। ब्रेस्‍ट फीडिंग कराने वाली माताएं लंबे समय तक ओट्स पर भरोसा करके  ब्रेस्‍ट मिल्‍क को बढ़ा सकती हैं। साथ ही यह आयरन का बहुत अच्‍छा स्रोत है जिससे एनीमिया होने की संभावना भी नहीं रहेगी।

लहसुन

लहसुन और दूध की आपूर्ति के बीच कनेक्शन पाया गया है। लहसुन में ऐसे तत्‍व मौजूद होते हैं, जो ब्रेस्‍ट मिल्‍क  को बढ़ाने में मदद करते हैं। इसके अलावा लहसुन खाने से महिलाओं का कई तरह के कैंसर से भी बचाव मिलता है। लहसुन की कुछ कलियां भूनकर सूप या सब्‍जी में डालकर खा सकती हैं या आप चाहे तो सुबह के समय 1 या 2 कली को ऐसे भी ले सकती हैं।

सौंफ

सौंफ एक अन्य पारंपरिक मिल्‍क बूस्टर है और आमतौर पर ब्रेस्‍ट फीडिंग कराने वाली महिलाओं को इसे लेने की सलाह दी जाती है। मेथी की तरह, सौंफ़ के बीज में एस्ट्रोजन जैसे तत्‍व होते हैं, जो दूध के फ्लो को बढ़ाने में मदद करते हैं। आप खाने के ऊपर सौंफ डालकर खा सकती हैं या सौंफ की चाय भी पी सकती हैं। ये पाचन के लिए भी अच्छा है।

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जीरा

जीरा डाइजेशन के लिए बहुत अच्‍छा माना जाता है। ब्रेस्‍टफीडिंग कराने वाली महिलाओं में कब्ज, एसिडिटी से राहत देने के साथ सूजन को कम करने और दूध को बढ़ने में भी मदद करता है। जीरा विटामिन और कैल्शियम से भी भरपूर होता है। जीरा भून कर पीस कर रख लें और फिर दाल , सब्ज़ी ,सलाद में डाल कर खाएं।

दूध

दूध में फोलिक एसिड, कैल्शियम और हेल्‍दी फैट नेचुरली होता है, जो न केवल दूध उत्पादन में मदद करता है बल्कि यह सुनिश्चित करता है कि दूध आपके बच्चे के लिए पोषण से भरपूर हो। ब्रेस्‍ट मिल्‍क को बढ़ाने के लिए डिलीवरी के बाद कम से कम दिन में 2 बार 1 गिलास दूध जरूर लें।

तुलसी

तुलसी से जादुई पौधा है। ब्रेस्‍टफीडिंग कराने वाली माताओं द्वारा पीढ़ियों से तुलसी का उपयोग किया जा रहा है। जबकि यह दूध उत्पादन में सहायक है, यह अपने शांत प्रभाव के लिए भी जानी जाती है, साथ ही साथ यह हेल्‍दी बाउल मूवमेंट और भूख को बढ़ावा देने में मदद करती है। आप चाय के रूप में तुलसी ले सकती हैं जो आपको रिलैक्‍स महसूस कराने में मदद करती है।

इन फूड्स के अलावा, हरी पत्तेदार सब्जियां, गाजर, चुकंदर, शकरकंद आदि सब्जियां, दूध की आपूर्ति के लिए अच्छी होती हैं। खुद को हाइड्रेटेड रखना सबसे महत्वपूर्ण है। याद रखें, ब्रेस्‍टफीडिंग डिमांड एंड सप्लाई के नियम पर काम करता है। जैसे-जैसे मांग बढ़ती है मिल्क फ्लो और कुणातित्य भी बढ़ती जाती है।

इसलिए, अपने बच्चे को हर 3 घंटे में फीड कराएं। इसके अलावा फीडिंग शुरू करने से पहले ब्रेस्‍ट की सर्कुलर मोशन में मसाज करें, इससे बच्चे को सक करने में आसानी होगी और दूध भी बढ़ेगा।