World Environment Day : आसरा बूढे पीपल का
उन नन्हीं -नन्हीं चिडियों को जिनके पर कतरने के लिए दुनिया बावली है...
फीचर्स डेस्क। मेरे मन -मस्तिष्क पर अनायास
छा जाने वाला वह बूढा पीपल
चुपचाप दे जाता है आसरा
उन नन्हीं -नन्हीं चिडियों को
जिनके पर कतरने के लिए
दुनिया बावली है
जी चाहता है, गले लग जाऊँ
उस विशाल वक्ष: स्थल के और
कर जाऊँ ढेर सारी मौन प्रार्थनाएँ
उसकी लंबी उमर की
नाती -पोतों -परपोतों के साथ
जब मैं धुंधली आंखों से
टटोलती हुई, आऊँ अपने गाँव
तो दे डालूँ सारे भार
और हो जाऊँ निश्चिंत
दे जाऊँ ढेर सारी नसीहतें
'ओ बूढे पीपल!'
सँभालो अपनी विरासत
और कर दो हमें मुक्त
डाल दो अपने शाश्वत संस्कार
इन नई कोपलों में
जिनकी इन्हें ज़रूरत है ।
इनपुट सोर्स: डॉ शिप्रा मिश्रा
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